जालौन के कोंच तहसील स्थित सब रजिस्टार कार्यालय में दलालों और अधिकारियों की मिली भगत से सरकार को लाखों रुपए का राजस्व का चूना लगाया जा रहा है, बिना कागजात देखे ही सब रजिस्ट्रार कार्यालय में तैनात अधिकारी, आबादी की जमीन को कृषि भूमि दिखाकर सरकार को राजस्व का नुकसान पहुंचाने में लगे हैं, इसकी पोल तब खुली जब एक अधिवक्ता ने इस मामले की शिकायत उच्च अधिकारियों से की, जिससे उपनिबंधक कार्यालय में हड़कंप मच गया। आनन फानन में कोंच सब रजिस्टार कार्यालय के प्रभारी उप निबंधक अधिकारी ने उच्च अधिकारियों को इस मामले में स्टांप ड्यूटी कम पाए जाने पर शिकायत की, जिससे वह अपने आप को बचा सकें।
बता दें कि मामला कोंच तहसील के सब रजिस्टार कार्यालय का है। इस कार्यालय में कोंच नगर की रहने वाली उमा सोनी पत्नी उमेश सोनी ने कोंच तहसील के लौना स्थित आबादी की जमीन को 14 मार्च 2022 को दयाशंकर पुत्र राजाराम को विक्रय की थी, जिसका पंजीकरण संख्या 1457 सब रजिस्ट्रार कार्यालय कोंच में दर्ज हुआ था, जिसमें खरीद करने वाले द्वारा स्टांप 27 हजार 300 रुपए के अदा किए गए थे, इसके ठीक 1 माह 12 दिन बाद 26 अप्रैल 2022 को इसी जमीन को दयाशंकर पुत्र राजाराम ने उमा सोनी पत्नी उमेश सोनी को वापस विक्रय कर दी और इस जमीन को परती यानी कृषि भूमि दिखाकर ली गई और इस मामले स्टांप मात्र 11 हजार 300 के अदा किए गए और इसका पंजीकरण संख्या 2348 था, जिसमें स्टांप की चोरी अधिकारियों की मिली भगत से की गई। इस भूमि को एक माह 12 दिन पहले आबादी क्षेत्र में दिखाकर खरीदा गया था, वह जमीन मात्र एक माह 12 दिन में कृषि भूमि बन गई और बिना जांच किए ही इसका पंजीकरण कर दिया गया।
इसका खुलासा अधिवक्ता नरेश चंद्र अग्रवाल द्वारा किया गया, जिन्होंने इस मामले की शिकायत उत्तर प्रदेश के महानिदेशक निबंधक को लिखित रूप से की है, उन्होंने बताया कि तहसील कोच में डीड राइटर मधुसूदन सोनी व उसके भाई उमेश सोनी व उनकी पत्नी द्वारा खरीदी वह बेची गई संपत्ति की यदि सही तरीके से जांच कराई जाए, तो बड़ा खुलासा होगा, क्योंकि उनके द्वारा आबादी क्षेत्र की जगह को कृषि भूमि में दिखाकर लाखों रुपए के राजस्व का चूना लगाया गया है, इसीलिए इसमें अधिकारी भी शामिल है, जिनके खिलाफ कार्रवाई की जानी चाहिए।
वही जब इस मामले में कोंच के उपनिबंधक अधिकारी मिठाई लाल से जानकारी ली तो उन्होंने पहले इस मामले में चुप्पी साध ली, बाद में उन्होंने कहा कि वह अभी हाल ही में आए हैं, उन्हें इस मामले का संज्ञान आया, उन्होंने उच्च अधिकारियों को इस मामले में पत्र लिखकर निष्पक्ष जांच करने की मांग की है, जिससे मामला उजागर हो सके।